पेट्रोल, डीजल और पीएनजी गैस जीएसटी के तहत लाने का प्रस्ताव नहीं: वित्त मंत्री
मुंबई। ईंधन की आसमान छूती कीमतों के बीच वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को कहा कि माल और सेवा कर (जीएसटी) के तहत कच्चे तेल, पेट्रोल, डीजल, जेट ईंधन (एटीएफ) और प्राकृतिक गैस को लाने का अभी कोई प्रस्ताव नहीं है। मांग बढ़ने से वैश्विक तेल की कीमतों में तेजी आई है, जिसके कारण देश में पेट्रोल और डीजल के दाम आसमान छू रहे हैं। ईंधन को भी जीएसटी के तहत लाने की मांग भी तेज हो रही है। इसके अलावा, फरवरी में थोक महंगाई दर बढ़कर 4.17 फीसदी हो गया है, जो पिछले 27 महीनों का रिकॉर्ड स्तर है। देश का व्यापार घाटा भी बढ़कर 12.62 अरब डॉलर हो गया है।
थोक महंगाई दर ने बढ़ाई चिंता
अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर थोक महंगाई दर व पेट्रोलियम के दाम ने चिंता बढ़ा दी है। फरवरी में थोक महंगाई दर (डबल्यूपीआई) में भारी इजाफा हुआ है। फरवरी में थोक महंगाई दर बढ़कर 4.17 फीसदी हो गया है, जो पिछले 27 महीनों का रिकॉर्ड स्तर है। जनवरी में थोक महंगाई दर 2.03 फीसदी थी, जबकि एक साल पहले की समान अवधि में यह दर 2.26 फीसदी रही थी। खाने, पीने की चीजों के अलावा फ्यूल और पावर की थोक महंगाई में जमकर इजाफा हुआ है। मिनिस्ट्री आफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री ने सोमवार को थोक महंगाई के आंकड़े जारी किए हैं।
व्यापार घाटा बढ़ा
सोमवार को जारी आधिकारिक डेटा के मुताबिक, लगातार तीसरे महीने देश का निर्यात सालाना आधार पर 0.67 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ फरवरी में 27.93 अरब डॉलर पर पहुंच गया है। हालांकि व्यापार घाटा बढ़कर 12.62 अरब डॉलर हो गया। डेटा में सामने आया कि व्यापार घाटा फरवरी 2020 में 10.16 अरब डॉलर पर था। अप्रैल-फरवरी 2020-21 की अवधि के दौरान निर्यात 12.23 फीसदी की गिरावट के साथ 256.18 अरब डॉलर पर पहुंच गया। एक साल पहले की अवधि में यह 291.87 अरब डॉलर था।
