मुंबई। रिलायंस इंडस्ट्रीज (आरआईएल) ने अपने ऑयल-टू-केमिकल बिजनेस को अलग करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। दुनिया के बड़े निवेशकों को अपने ऑयल-टू-केमिकल बिजनेस में हिस्सेदारी बेचने के लिए अलग कंपनी (सब्सिडियरी) बना रही है। इसके लिए पैरेंट्स कंपनी से 25 अरब डॉलर का कर्ज लिया जाएगा। इस अनुषंगी इकाई के पास 42 अरब डालर की संपत्तियां होंगी।
आरआईएल ने कहा है कि आरआईएल स्टैंडएलोन कंपनी होगी, जिसके पास ऑयल-टू-केमिकल को छोड़ दूसरे सभी कारोबार होंगे। नई सब्सिडियरी नई टेक्नोलॉजी को अपनाने पर जोर देगी, जिससे ग्रोथ के नए प्लेटफॉर्म तैयार होंगे। ऑयल टू केमिकल कारोबार को अलग करने का प्रस्ताव मुंबई और अहमबदाबाद में नेशनल कंपनी लॉ ट्राइब्यूनल (एनसीएलटी) को भी भेजा गया है। इस वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में अप्रूवल मिल जाने की उम्मीद है। सेबी और स्टॉक एक्सचेंजों का अप्रूवल पहले ही मिल चुका है।
