प्रहरी संवाददाता, मुंबई। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए), 2002 के तहत फ्लैट खरीदारों को धोखा दे रहे ऑर्नेट स्पेस प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक विजय मछिंदर को गिरफ्तार कर लिया है।
बिल्डर विजय पर आरोप लगाया गया है कि वर्ष 2012 से 2019 तक ओशिवारा प्रोजेक्ट के लिए फ्लैट बुकिंग राशि स्वीकार करने के बाद भी फ्लैटधारकों को गुमराह किया और 74 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की है। ओशिवारा पुलिस स्टेशन में केस दर्ज किया गया था। विशेष पीएमएलए कोर्ट (मुंबई) ने आरोपी विजय मछिंदर को 12 जनवरी तक ईडी की हिरासत में भेज दिया है। आगे की जांच जारी है।
ईडी की जांच में पता चला कि ऑर्नेट स्पेस प्रा. लिमिटेड के साथ ओशिवारा में एक भूखंड के विकास के लिए वर्ष 2010 में डेवलपमेंट एग्रीमेंट किया गया था। म्हाडा द्वारा यूनाइटेड ट्रस्ट ऑफ इंडिया के कर्मचारियों के नाम पर यह भूखंड डेवलप करने के लिए आवंटित किया था।
वर्ष 2012 में बिल्डर और डेवलपर विजय मछिंदर ने ओशिवारा परियोजना के लिए अग्रिम फ्लैट बुकिंग के साथ-साथ वित्तीय संस्थानों से बड़े पैमाने पर ऋण लिया। इस प्रोजेक्ट में फ्लैट बुकिंग के रूप में लगभग 93.44 करोड़ रुपये और वित्तीय संस्थानों से 710 करोड़ रुपये की राशि एकत्र की। इसमें से मूल राशि लगभग 470 करोड़ रुपये का बकाया भी है। इसके बावजूद उसने ओशिवारा परियोजना का निर्माण कार्य शुरू नहीं किया।
