- 70% पुरुषों को उनकी पत्नियों ने दान की किडनी
- एक साल में 111 महिलाओं ने किडनी दी
- केवल 16 पुरुषों ने ऐसा किया
डिजिटल न्यूज डेस्क, लखनऊ। उत्तर प्रदेश में किडनी प्रत्यारोपण को लेकर एक रिपोर्ट सामने आई है। इसके मुताबिक, पिछले एक साल में किडनी दान देने के मामले में महिलाएं पुरुषों से काफी आगे हैं। साल 2023 में भारत में 13,426 किडनी ट्रांसप्लांट हुए।
रिपोर्ट से जाहिर है कि जीवन बचाने की लड़ाई में महिलाओं की संवेदनशीलता पुरुषों से काफी ज्यादा है। पुरुष जहां अपने महिला संबंधियों के लिए अंगदान से कतराते दिखते हैं, वहीं महिलाओं ने जरूरत पड़ने पर जान की बाजी लगाने से भी गुरेज नहीं किया है।
लखनऊ स्थित एसजीपीजीआई की रिपोर्ट में बताया गया है कि एक साल के भीतर 111 महिलाओं ने अपनी किडनी डोनेट की है, जबकि ऐसा करने वाले पुरुष सिर्फ 16 ही हैं।
एसजीपीजीआई के आंकड़े बताते हैं कि एक साल में सिर्फ 16 महिलाओं का ही गुर्दा प्रत्यारोपण हो सका है। वहीं, इस अवधि में 111 पुरुषों की किडनी ट्रांसप्लांट की गई। महिलाओं के किडनी ट्रांसप्लांट की संख्या कम होने के पीछे की वजह यह रही कि उन्हें डोनर ही नहीं मिले। जब महिलाओं को किडनी देने की बात आई, तो उनके पति और बेटों तक ने इससे मुंह मोड़ लिया। वहीं, 70 फीसदी पुरुषों को उनकी पत्नियों ने किडनी डोनेट की थी।
किडनी डोनर में 87 फीसदी महिलाएं
रिपोर्ट के मुताबिक, एक साल में किडनी दान करने वाले लोगों में 87 फीसदी महिलाएं और सिर्फ 13 फीसदी पुरुष हैं। महिला दानदाताओं में 70 फीसदी पत्नियां हैं, जिन्होंने अपने पति के लिए किडनी डोनेट की है। 30 फीसदी महिलाओं में मां और बहनें या अन्य करीबी शामिल हैं।
पुरुष डोनर में सबसे ज्यादा संख्या पिताओं की है, जिन्होंने अपनी बेटियों के लिए किडनियां डोनेट कीं। पति का नंबर दूसरा है, जबकि तीसरे नंबर पर भाइयों ने बहनों के लिए किडनियां दान दी हैं।