राज्य चुनाव आयोग को फटकार, परिसीमन 31 अक्टूबर तक पूरा करने और ईवीएम उपलब्ध कराने के निर्देश
✍🏻 प्रहरी संवाददाता, मुंबई/नई दिल्ली। महाराष्ट्र में लंबे समय से टल रहे स्थानीय निकाय चुनावों को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को बड़ा फैसला सुनाया। अदालत ने स्पष्ट निर्देश दिए कि सभी जिला परिषद, पंचायत समितियों और महानगर पालिकाओं के चुनाव 31 जनवरी 2026 तक कराए जाएं। न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति जॉयमाल्या बागची की पीठ ने कहा कि अब किसी भी तरह का विस्तार संभव नहीं होगा।
सुप्रीम कोर्ट ने राज्य चुनाव आयोग (एसईसी) को कड़ी फटकार लगाई और कहा कि आयोग अपनी जिम्मेदारी निभाने में विफल रहा है। अदालत ने 31 अक्टूबर तक परिसीमन प्रक्रिया पूरी करने का आदेश दिया। साथ ही, महाराष्ट्र के मुख्य सचिव को निर्देश दिया गया कि चुनावी प्रक्रिया के लिए आवश्यक रिटर्निंग ऑफिसरों की नियुक्ति तुरंत की जाए। आयोग को दो हफ्तों में कर्मचारियों की सूची सरकार को सौंपनी होगी।
ईवीएम की उपलब्धता पर भी अदालत ने सवाल उठाए। कोर्ट ने कहा कि 30 नवंबर तक ईवीएम की स्थिति पर शपथपत्र दाखिल करना अनिवार्य है। महाराष्ट्र सरकार के वकील ने बताया कि राज्य के पास 65,000 ईवीएम हैं, जबकि 50,000 और मशीनों की जरूरत है और ऑर्डर दे दिए गए हैं।
दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने मई 2025 में ही स्थानीय निकाय चुनाव कराने का आदेश दिया था और सितंबर तक चुनाव प्रक्रिया पूरी करने की समयसीमा तय की थी। लेकिन चुनाव आयोग ने त्योहारी सीजन, बोर्ड परीक्षाओं और कर्मचारियों की कमी का हवाला देकर समय बढ़ाने की अर्जी दायर कर दी।
कोर्ट ने इस पर नाराजगी जताते हुए कहा कि यह निष्क्रियता प्रशासनिक अक्षमता को दर्शाती है। अब सुप्रीम कोर्ट के आदेश से स्पष्ट हो गया है कि महाराष्ट्र में टल रहे चुनाव हर हाल में तय समयसीमा के भीतर होंगे।