बैंकों को हो रहा है बैड लोन की वजह से आर्थिक नुकसान
मुंबई। यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक्स यूनियन का कहना है कि सरकारी बैंकों का बढ़ता एनपीए चिंता का सबब बन गया है। 13 कंपनियों की वजह से बैंकों को 2.85 लाख करोड़ रुपये का घाटा हुआ है।
बता दें कि 13 कंपनियों पर कुल 4.86 लाख करोड़ रुपये का कर्ज बकाया है। इसमें से केवल 1.61 लाख करोड़ रुपये की रिकवरी हो पाई है। बैंकों पर अभी भी 2.85 लाख करोड़ रुपये की देनदारी है। इसके अलावा सरकार बैंकों का बेलआउट यानी राहत देने के लिए उपयोग कर रही है। इसके खिलाफ बैंक यूनियन दो दिनों की हड़ताल कर रही हैं।
यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक्स यूनियन का कहना है कि बैंकों का उपयोग यस बैंक, आईएल एंड एफसी जैसे संस्थानों के बेलआउट के लिए किया जा रहा है। इन संस्थानों को स्टेट बैंक सहित कई बैंकों ने बेलआउट किया है। इसके साथ सरकारी बैंकों का भी निजीकरण किया जा रहा है। सरकार की इन नीतियों के खिलाफ 16 और 17 दिसंबर को हड़ताल का फैसला किया है।