मंत्रिमंडल विस्तार से पहले अजित ने की पीएम मोदी से मुलाकात, निकले कई संदेश
हाइलाइट्स
- अजित पवार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से की मुलाकात
- मंत्रिमंडल विस्तार से ठीक पहले की दिल्ली में मीटिंग
- महाराष्ट्र में 14 दिसंबर को मंत्रिमंडल का होगा विस्तार
- गुरुवार को चाचा शरद पवार से मिले थे अजित दादा
डिजिटल न्यूज डेस्क, मुंबई। पार्टी विद डिफरेंस का टैग लगाने वाली बीजेपी सहयोगी दलों का हमेशा से उपयोग करती आ रही है। काम निकल जाने के बाद दूध में से मक्खी की तरह निकाल फेंकने से भी गुरेज नहीं करती।
कुछ ऐसा ही वाकया महाराष्ट्र की राजनीति में दिखाई दे रहा है। सत्ता पाने के लिए बीजेपी ने पहले तो अविभाजित शिवसेना और एनसीपी में बगावत करा दी और फिर ढाई साल तक कुर्सी सौंपने के बाद मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को रास्ता दिखा दिया। उन्हें अब डिप्टी बन कर सत्ता के साथ रहने को विवश होना पड़ा है।
महाराष्ट्र में शनिवार को मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस अपने मंत्रिमंडल का विस्तार करेंगे। महायुति सरकार में शिवसेना और एनसीपी से कितने मंत्री बनते हैं, इस पर सभी की नजरें टिकी हुई हैं। हालांकि मंत्रिमंडल विस्तार से पहले डिप्टी सीएम अजित पवार की पीएम मोदी से मुलाकात की तस्वीरों ने राज्य की राजनीति में उबाल ला दिया है।
अजित पवार ने पत्नी सुनेत्रा पवार और बेटे पार्थ के साथ पीएम मोदी से मुलाकात की। इससे पहले वह केंद्रीय गृह अमित शाह और बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से भी मुलाकात कर चुके थे। पीएम मोदी से मुलाकात की तस्वीरें राजनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बनी हुई हैं।
पीएम मोदी से मुलाकात के बाद अजित पवार ने एक्स पर तस्वीरें साझा करते हुए लिखा कि परिवार ने सौहार्दपूर्ण वातावरण में नरेंद्र मोदी जी से मुलाकात की। इस दौरान राज्य में महायुति की ऐतिहासिक जीत के लिए शुभकामनाएं व्यक्त की गईं। इसके अलावा विभिन्न महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी सकारात्मक चर्चा हुई है।
शिंदे नहीं गए, अजित ने खेला दांव
महाराष्ट्र में मंत्रिमंडल विस्तार से पहले चर्चा थी कि सीएम देवेंद्र फडणवीस के अलावा एकनाथ शिंदे और अजित पवार दिल्ली जाएंगे, लेकिन शिंदे दिल्ली नहीं गए। उन्होंने मुंबई में बीएमसी चुनावों का हवाला देते हुए पार्टी के नेताओं के साथ बैठक की।
राजनीतिक हलकों में संभावना जताई जा रही है कि क्या महायुति सरकार में अजित पवार को अधिक तवज्जो मिलेगी। अगर उन्हें फिर से वित्त मंत्रालय मिलता है, निश्चित तौर पर उनका एकनाथ शिंदे से अधिक दबदबा होगा। पिछले साल जुलाई से अजित पवार ही वित्त विभाग संभाल रहे हैं। पहले यह विभाग फडणवीस के पास था।