25 साल की सजा पूरी होने पर ही होगी रिहाई
मुंबई। नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने गैंगस्टर अबू सलेम की रिहाई को लेकर एक याचिका की सुनवाई करते हुए कहा कि 25 साल की सजा पूरी होने के बाद ही उसकी रिहाई हो सकेगी। उसकी कोशिश थी कि प्रत्यर्पण संधि के मुताबिक साल 2027 में उसे रिहा होना चाहिए। सुप्रीम कोर्ट ने उसके दावे को खारिज कर दिया।
सुप्रीम कोर्ट ने सलेम की इस दलील को खारिज कर दिया कि उसको पुर्तगाल में जब हिरासत में लिया गया, तब से 25 साल गिना जाए। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि सलेम को 12 अक्टूबर 2005 को भारत लाया गया था। 25 साल की सजा भी 12 अक्टूबर 2005 से ही मानी जाएगी।
कोर्ट ने 5 मई को फैसला सुरक्षित रख लिया था। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने केंद्र के जवाब पर असंतोष जताया था।
जस्टिस संजय किशन कौल की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने केंद्र सरकार को निर्देश दिया है कि 25 साल पूरा होने के बाद ही सरकार सलेम की रिहाई के लिए सलाह देने को बाध्य है। मुंबई की टाडा कोर्ट ने भी गैंगस्टर को दो मामलों में उम्र कैद की सज़ा सुनाई है।
दरअसल, केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल जवाब में कहा है कि भारत सरकार की तरफ से पुर्तगाल को दिए गए आश्वासन से देश के अदालतें बंधीं नहीं हैं। वह कानून के हिसाब से अपना निर्णय देती हैं।